जिला समाहरणालय के मंथन सभागार में स्वास्थ्य विभाग से संबंधित समीक्षा बैठक का आयोजित की गई। उक्त बैठक में सिविल सर्जन द्वारा बताया गया कि जिले में आयरन, कैल्शियम, एवं एल्बेंडाजोल की गोली पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध है। एएनसी पंजीकरण इस बार घटकर 80.95 प्रतिशत हो गया है जो पिछले माह 85.62 प्रतिशत था, जिस पर जिला पदाधिकारी जे.प्रियदर्शनी द्वारा असंतोष व्यक्त करते हुए कहा निर्देश दिया गया कि स्वास्थ्य और आईसीडीएस विभाग आपसी समन्वय से इसे सुधारने को लेकर कार्य योजना बनाकर उन्हें प्रस्तुत करें। लोक स्वास्थ्य संस्थानों में संस्थागत प्रसवों को और बढ़ाने की दिशा में बढ़िया एएनसी पंजीकरण पहला कदम है। धात्री महिला के लिए हॉस्पिटल में विशेष व्यवस्था करने के लिए उनके द्वारा सभी पीएचसी प्रभारी को निर्देशित किया गया है। जिलान्तर्गत सभी प्राइमरी स्वास्थ्य केंद्र में मंगलवार के दिन सभी पीएचसी प्रभारी अपने स्तर से हेल्थ मैनेजर, सीडीपीओ, प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी, प्रखंड विकास पदाधिकारी के स्तर पर बैठक का आयोजन करेंगे, जिनमें अधिक से अधिक लोगों तक स्वास्थ्य की बेहतर सुविधाएं उपलब्ध हो उसके लिए प्रखंड स्तर पर कार्ययोजना बनाई जाए ।इस बैठक में अनिवार्य रूप से जिले के सभी प्रखंडों के वरीय प्रभारी भी भाग लेंगे। इसमें एनीमिया मुक्त भारत अभियान के क्रियान्वयन को प्राथमिकता दी जाएगी। पंचायत स्तर पर कुपोषित बच्चों को चिन्हित कर उन्हें पोषण पुनर्वास केंद्र में उचित देखभाल हेतु लाने को कहा गया। आशा एवम एएनएम कार्यकर्ताओं के कार्यों के संबंध में साप्ताहिक समीक्षा भी प्रखंड स्तर पर करने का आदेश उनके द्वारा दिया गया है। जिले में टीवी मरीजों के पहचान हेतु निरंतर जांच अभियान चलाने तथा इस संबंध में प्रतिवेदन के माध्यम से उन्हे अवगत करने को लेकर कहा गया है। कोई भी स्वास्थ्य पदाधिकारी या वर्कर अगर कार्य में लापरवाही करता है तो उस पर जिम्मेवारी तय करते हुए कठोर करवाई करने का निर्देश सिविल सर्जन को दिया गया है।
महादलित टोलों में सर्वे कार्य का पूर्ण करने का निर्देश
जिला पदाधिकारी ने सभी चिकित्सा पदाधिकारी/कर्मी को ससमय कार्यालय में उपस्थित होने का निर्देश दिया गया एवं लक्ष्य बनाकर उसके अनुरूप कार्य भी करने को कहा गया ताकि आम लोगों का ससमय स्वास्थ्य संबंधी देखभाल हो सकें। महादलित टोलों में सर्वे का कार्य चल रहा है जिसको ससमय पूर्ण करने का भी निर्देश दिया गया है ताकि स्वास्थ्य में सुधार हो तथा स्वास्थ्य का ससमय लाभ मिल सकें। सभी सामुदायिक स्वास्थ्य अधिकारी को अनिवार्य रूप से प्रतिदिन स्वास्थ्य आंकड़ों का प्रतिवेदन से अवगत कराने को कहा गया है साथ ही टेली काउन्सेलिंग सेवा को और बढ़ाने का निर्देश दिया गया। इस अवसर पर सिविल सर्जन, उप विकास आयुक्त, वरीय उप समाहर्ता-सह-प्रभारी पदाधिकारी जिला जनसंपर्क शाखा, डीपीएम स्वास्थ्य, जिला प्रोग्राम पदाधिकारी, डीपीएम जीविका, तथा सभी प्रखंड चिकित्सा पदाधिकारी, पीरामल, यूनिसेफ सदस्य के साथ साथ अन्य पदाधिकारी एवं कर्मी उपस्थित थें।
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